एक बेटा अपने माता-पिता से मिलने के लिए कॉलेज से घर के लिए रवाना हुआ था, लेकिन पहुंच ना सका। अगले दिन माता-पिता को पता चला कि उनके बेटे की मौत हो गई है। शव रेलवे स्टेशन के करीब ही पड़ा मिला। मृतक का नाम नवीन मौर्य था, जो नोएडा के एक कॉलेज से इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहा था। नवीन की मौत का आरोप आरपीएफ के कर्मियों पर है। कॉलेज प्रबंधन और नवीन के माता-पिता ने रेल मंत्री सुरेश प्रभु से इंसाफ की गुहार लगाई है।
ग्रेटर नोएडा के एक निजी इंजीनियरिंग कॉलेज के स्टूडेंट्स और टीचर्स ने बीटेक के छात्र नवीन की मौत के मामले में न्याय की मांग करते शुक्रवार को कैंडललाइट मार्च निकाला। रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) के तीन कर्मियों पर आरोप है कि उन्होंने मृतक नवीन मौर्य के साथ मारपीट की, जब वह ट्रेन में सफर कर रहा था। दूसरे दिन नवीन का शव एक एक रेलवे स्टेशन के नजदीक पाया गया था। कॉलेज प्रबंधन ने रेल मंत्री सुरेश प्रभु को एक पत्र लिखा है, जिसमें छात्र की मौत के लिए न्याय की मांग की गई है।
नवीन मौर्य ग्रेटर नोएडा के एक इंजीनियरिंग और टेक्नोलॉजी संस्थान का छात्र था। संस्थान में उसका यह चौथा साल था। वह 13 फरवरी को श्रमजीवी एक्सप्रेस से दिल्ली से अपने शहर जौनपुर के लिए रवाना हुआ था। नवीन के पास ट्रेन का कंफर्म टिकट था। कॉलेज में पढ़ने वाले कुछ छात्रों ने बताया कि जब ट्रेन हरदोई जिले में थी, तब नवीन का सीट को लेकर कुछ रेलवे सुरक्षा बल के कर्मियों के साथ झगड़ा हो गया था।
नवीन ने इस दौरान अपने माता-पिता को फोन पर भी सुरक्षा में तैनात कर्मियों से हुए झगड़े के बारे में बताया। फोन पर नवीन ने बताया था कि कंफर्म टिकट होने के बावजूद कुछ सुरक्षा कर्मी उससे पैसे मांग रहे हैं। नवीन के पिता सतेंद्र मौर्य ने कहा कि आरपीएफ कर्मियों ने अवैध रूप से उनके बेटे को हिरासत में लिया और उससे पैसे की मांग की थी। हमें इंसाफ चाहिए।
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